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पेड़ की आत्मकथा - तृतीय भाग (पेड़-पौधे प्रदूषण निवारक के रूप में)

नमस्कार दोस्तों, पेड़-पौधों की रोचक दुनिया की जानकारी के साथ मैं पेड़ दादा आपका फिर से एक बार स्वागत करता हूँ. बूढ़ा हो गया हूँ न इसलिए थोडा शरीर भी अस्वस्थ रहता है. यही कारण है की मैं लगातार आपलोगों से बात नहीं कर पता. खैर इसके लिए मैं आप सभी से फिर से एक बार क्षमा मांगता हूँ. और अपने इस सफ़र को आगे बढाता हूँ.

आप सभी लोगों ने अभी तक हमारे परिवार के वितरण एवं अन्य जीवों के लिए पर्यावाश को उपलब्ध करने से सम्बंधित जानकारियां प्राप्त हो चुकी हैं. तो आइये मैं आपको अब अपने सबसे अनोखे गुण के बारे में बताने जा रहा हूँ, जिसके बारे में आप सब जानते हैं. सोचिये-सोचिये!! बहुत ही खास गुण है. जानता हूँ आप सभी लोग इसके बारे में जानते होंगे फिर भी मैं आपका थोडा ज्ञान वर्धन करता हूँ.

क्या आप जानते हैं.. की हम यानि पेड़-पौधे, जिसमे हमारे भाई बंधू जैसे शाक, झाड़ी, वृक्ष इत्यादि लोग आते हैं, प्राकृतिक पर्यावरण में जैविक शोधक के रूप में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. इसके अलावा हमारे परिवार के सभी पेड़-पौधे, पर्यावरणीय प्रदुषण को कम करने में अपना अपना योगदान देते हैं.

जैसा की आप सभी जानते होंगे की हम सब प्रकृति में प्राणदायिनी गैस ऑक्सीजन की मात्रा को ऑक्सीजन चक्र के माध्यम से संतुलित करने का कार्य भी करते हैं, यही कारण है की हमें पृथ्वी पर ऑक्सीजन बैंक भी कहा जाता है. हम में से प्रत्येक ऑक्सीजन गैस के चक्रण में अपना-अपना योगदान देता है. हमारे ऊपर किये गए शोध से इस विषय पर कई तथ्य उभर कर सामने आये हैं. आर्बर डे फाउन्डेसन के अनुसार, "हम में से एक नौजवान, स्वस्थ एवं पत्तियों से परिपूर्ण पेड़ इतनी मात्रा में ऑक्सीजन गैस को उत्पादित करता है जितना की दस व्यक्तियों को एक वर्ष में सांस लेने के लिए आवश्यक है". कनाडा के राष्ट्रीय पर्यावरणीय एजेंसी ने अपने शोध में यह पाया की हम में से एक स्वस्थ पेड़ औसतन एक वर्ष में 118 किलोग्राम ऑक्सीजन का उत्पादन करता है. आइये मैं आपको ऐसे दस पेड़-पौधों के नाम बताता हूँ जिन्हें आप अपने घर पर गमलों में लगा कर भीतरी प्रदुषण के साथ-साथ आस-पास के प्रदुषण को भी थोडा बहुत कम कर सकते हैं:

१. अरिका पाम: यह आसपास की वायु को नाम रखने वाला सबसे प्रभावशाली पौधा है.
२. लेडी पाम
३. बम्बू पाम
४. रबर पाम: ध्यान देने योग्य बात यह है की इसकी पत्तियां जहरीली होतु हैं, अतः पालतू जानवरों को इनसे दूर रखें.
५. द्रसिना
६. इंग्लिश आइवी
७. ड्वार्फ डेट पाम
८. फाइकस अलाई
९. बोस्टन फर्न
१०. पीस लिली:

हमारे परिवार के इन सभी सदस्यों के बारे में अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए http://webecoist.momtastic.com/2009/04/08/air-purifying-plants/ इस लिंक पर क्लिक करें.

प्रदुषण को कम कम करने में भी हमें महारत हासिल है. हमारी हरी-हरी पत्तियां गैसीय प्रदूषकों को अपने सतहों के माध्यम से अवशोसित करने का काम करती हैं. इसके अलावा हमारे तने, शाखाएं एवं टहनियां भी कुछ मात्रा में हानिकारक प्रदुषण को अवाशोसित करने का कार्य करती हैं. हमारा सबसे महत्त्वपूर्ण कार्य वायुमंडल से कार्बन के ऑक्साइड को कम करना है. हम अपने अन्दर इस प्राणघातक गैस को अवशोसित कर के जीव-जंतुओं की मदद करते हैं. एक शोध के अनुसार हम में से एक स्वस्थ पेड़ प्रति वर्ष औसतन 6 किलोग्राम कार्बन को अवशोषित करता है.

आइये आपको एक और महत्वपूर्ण बात बताता हूँ. हम सब ध्वनि प्रदूषण को भी कम करते हैं. अब आप सब सोच रहे होंगे ये कैसे संभव है. अरे जनाब यह भी संभव है. आइये इसके बारे में भी थोडा सा जानते हैं. हमारी शाखाएं, पत्तियां, टहनियां एवं तने ध्वनि तरंगियो को अवाशोसित करने का कार्य करती है. एक अध्ययन के अनुसार सड़क मार्गों के किनारे स्थित हमारी (वृक्षों की) १०० फीट चौड़ी और ४५ फीट लम्बी श्रृंखला ध्वनि प्रदूषण को ६ से १० डेसिबल तक कम करती हैं. यहाँ तक की अगर हम में से किसी एक पेड़ को अपने घर के आस-पास सुनियोजित तरीके से लगाते हैं तो यह आपको काफी मात्रा में अनावश्यक ध्वनि प्रदूषण को कम करने में सहायक होगी.

और तो और हम सब वायु एवं जल द्वारा होने वाले मृदा क्षरण को भी काफी मात्रा में कम करने, नाइट्रोजन के स्थिरीकरण, कचरों के निस्तारण इत्यादि में सहायता प्रदान करते हैं.

तो देखा आपने की किस प्रकार से हमारे परिवार का एक छोटे से छोटा सदस्य भी आप सभी जीव-जंतुओं के लिए अत्यंत आवश्यक है. ऐसे न जाने कितने कार्य है जिसके बारे में आप अच्छी तरह से नहीं जानते होंगे. तो ऐसी अनेकों जानकारियों के लिए जुड़े रहिये मेरे अर्थात पेड़ दादा के साथ. और पढ़ते रहिये प्रकृति मित्र ब्लॉग. तब तक के लिए गुड बाई. अपना और अपने पेड़ पौधों का ख्याल रखें धन्यवाद.

आपका अपना:
पेड़ दादा

प्रस्तोता: आशुतोष कुमार द्विवेदी "आशु"

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Comment

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Comment by Ranjeet singh kaurav on August 31, 2012 at 4:10pm

its a valuable information , amazing passsion for paryavaran.......jai  ho !!!!!

Comment by Vivek kumar ojha on August 20, 2012 at 1:34pm

Dwivedi ji............Thank You for your expression of such a great thought. 

Comment by Ashutosh Kumar Dwivedi on August 14, 2012 at 2:46am

Thanks to all of you for your sweet comment.

Comment by GOPI KANTA GHOSH on August 13, 2012 at 9:47am

Wonderful..I am sharing with my friends

Comment by Gunwant Joshi on August 13, 2012 at 8:58am

Very interesting note in hindi. Accept my sincere thanks for the same

Comment by SATYAPAULNARANG on August 13, 2012 at 8:35am
DEAR ASHU,
GOOD AND ELABORATE

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